Haryana में बड़ा झटका: 650 Private Hospitals ने Ayushman Bharat Servizi बंद की

हरियाणा की हेल्थकेयर स्कीम Ayushman Bharat (PM-JAY) के लिए बुरा समय है— 650 private hospitals ने आर्थिक कारणों से इलाज (cashless/treatment) बंद कर दिया है, और इसका सीधा असर लगभग 1.8 करोड़ beneficiaries पर पड़ा है।


 

Ayushman Bharat – मामला क्या है?

Indian Medical Association (IMA), Haryana की report के मुताबिक सरकार पर कुल ₹490–500 करोड़ का बकाया है। इस कारण से hospitals का cash-flow टूट रहा है, और इसलिए उन्होंने 8 अगस्त से Ayushman services रोकने का ऐलान किया।


 

Government की प्रतिक्रिया (Payment Restart)

Sunday (6 अगस्त) को, State Health Agency ने बताया कि ₹240.63 करोड़ का current year fund मिल चुका है और FIFO system के अनुसार पिछले मई तक के claims clear किए गए हैं।
SHA ने कहा कि ₹2,900 करोड़ अब तक scheme के तहत hospitals को दिए जा चुके हैं।


 

Hospitals का जवाब—Trust Deficit जारी

IMA की नज़र में partial payments पर्याप्त नहीं हैं—उनका कहना है कि daily run rate बहुत high हो गया है, और full reimbursements सही समय पर नहीं आए तो वे services फिर से बंद कर सकते हैं।


 

Root Cause (लंबे समय से समस्या)

Budget Shortfall: हरियाणा का annual budget केवल ₹700 करोड़ है जबकि खर्च ₹1,400–1,500 करोड़ के बीच है।

Interest on Delayed Payments: MoU में interest clause था, पर राज्य ने उसे लागू नहीं किया।

Trust Deficit: पिछले तीन साल से हर तीन महीने में ही ऐसी समस्या दोहराई जा रही है।


 

Impact—Beneficiaries पर असर

करीब 1.8 करोड़ लोग, जिनमें गरीब परिवार, senior citizens शामिल हैं, उन्हें private hospitals में treatment नहीं मिल पा रहा।

Emergency services संभवतः जारी रहेंगे, लेकिन planned/specialized treatments जैसे dialysis, surgeries आदि रुक गई हैं—many patients परेशान और stranded महसूस कर रहे हैं।


 

क्या हो सकता है अगला कदम?

  • Supplementary Budget: IMA मांग कर रही है कि ₹2,500–3,000 करोड़ annual allocation होना चाहिए ताकि पूरा साल services जारी रहें।
  • Process Improvement: SHA ने hospitals के लिए portal training, grievance mechanism (CGRMS 2.0) और audit committees स्थापित किए हैं—लेकिन hospitals ‘trust deficit’ की बात कह रहे हैं।
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